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Direct Mutual Funds Meaning Hindi

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डायरेक्ट म्यूचुअल फंड का मतलब – Direct Mutual Funds Meaning in Hindi

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड का मतलब है वह स्कीम जिसमें निवेशक सीधे म्यूचुअल फंड कंपनी से निवेश करता है, बिना किसी बिचौलिये या डिस्ट्रीब्यूटर के। इसमें कमीशन नहीं लगता, जिससे एक्सपेंस रेशियो कम होता है और रिटर्न अधिक मिलते हैं। यह विकल्प अनुभवी निवेशकों के लिए उपयुक्त माना जाता है।

Table of Contents

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड क्या है? – What Is A Direct Mutual Fund in Hindi

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड वह स्कीम होती है जिसमें निवेशक सीधे म्यूचुअल फंड कंपनी की वेबसाइट या एप के माध्यम से निवेश करता है। इसमें कोई एजेंट या बिचौलिया नहीं होता, जिससे निवेश पर कोई कमीशन नहीं लगता। यही कारण है कि डायरेक्ट फंड्स में एक्सपेंस रेशियो कम होता है।

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड उन निवेशकों के लिए बेहतर माने जाते हैं जो रिसर्च कर सकते हैं और निवेश को खुद से मैनेज करना जानते हैं। इन फंड्स में रिटर्न नियमित फंड्स की तुलना में थोड़ा अधिक हो सकता है क्योंकि इसमें वितरण लागत शामिल नहीं होती। निवेशक SEBI-पंजीकृत पोर्टलों से भी डायरेक्ट प्लान ले सकते हैं।

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डायरेक्ट म्यूचुअल फंड की विशेषताएं – Features of Direct Mutual Funds in Hindi

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड उन निवेशकों के लिए बनाए गए हैं जो बिचौलियों के बिना सीधे फंड हाउस से निवेश करना चाहते हैं। इन फंड्स की लागत कम होती है और रिटर्न बेहतर होने की संभावना रहती है। नीचे इसकी प्रमुख विशेषताएं दी गई हैं:

  1. बिना एजेंट के निवेश: डायरेक्ट म्यूचुअल फंड्स में निवेशक सीधे AMC (Asset Management Company) से निवेश करता है, जिससे कोई बिचौलिया या कमीशन नहीं होता।
  2. कम एक्सपेंस रेशियो: डायरेक्ट फंड्स का खर्च अनुपात (Expense Ratio) रेगुलर फंड्स की तुलना में कम होता है, जिससे लॉन्ग टर्म में अधिक रिटर्न प्राप्त होता है।
  3. रिटर्न में वृद्धि: कम लागत के कारण डायरेक्ट फंड्स में निवेश करने से कुल रिटर्न में थोड़ी बढ़ोतरी देखी जाती है, जो लंबे समय में निवेशकों को फायदा देती है।
  4. ऑनलाइन निवेश की सुविधा: इन फंड्स में निवेश करने के लिए निवेशक सीधे AMC की वेबसाइट, मोबाइल ऐप या प्लेटफॉर्म जैसे Zerodha Coin, Paytm Money आदि का उपयोग कर सकता है।
  5. निवेशक की स्वतंत्रता: डायरेक्ट फंड्स में निवेशक को रिसर्च और फंड चयन का कार्य स्वयं करना होता है, जिससे वह अपने निवेश पर पूर्ण नियंत्रण रखता है।

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड कैसे काम करता है – How Direct Mutual Fund Works in Hindi

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड में निवेशक सीधे म्यूचुअल फंड हाउस की वेबसाइट या प्लेटफॉर्म जैसे Alice Blue, Groww या Zerodha Coin के जरिए निवेश करता है। Alice Blue के अनुसार, डायरेक्ट फंड्स में कोई डिस्ट्रीब्यूटर या एजेंट नहीं होता, जिससे निवेश पर कोई कमीशन नहीं लगता और रिटर्न अधिक मिलते हैं।

जब आप Alice Blue जैसे प्लेटफॉर्म पर डायरेक्ट फंड चुनते हैं, तो आपकी राशि सीधे उस स्कीम में लगाई जाती है और यूनिट्स ₹NAV के आधार पर आवंटित होती हैं। निवेशक खुद रिसर्च करता है, पोर्टफोलियो मॉनिटर करता है और समय-समय पर आवश्यक बदलाव कर सकता है। इससे पारदर्शिता और नियंत्रण दोनों बना रहता है।

रेगुलर फंड क्या हैं? – Regular Funds Meaning in Hindi

रेगुलर फंड वह म्यूचुअल फंड्स होते हैं जिन्हें दलाल और वित्तीय सलाहकार जैसे मध्यस्थों के माध्यम से बाजार में पहुँचाया जाता है। ये तीसरे पक्ष निवेशक और म्यूचुअल फंड कंपनी के बीच मध्यस्थ के रूप में कार्य करके म्यूचुअल फंड इकाइयों की खरीददारी में मदद करते हैं। दलाल की सेवाओं के लिए आयोग अधिकतर स्थिर दर पर आधारित होता है बजाय फ्लैट शुल्क के।

रेगुलर फंड की लागत दर डायरेक्ट  फंड्स से अधिक होती है क्योंकि म्यूचुअल फंड कंपनी को वित्तीय सलाहकार को शुल्क चुकाना पड़ता है। इसलिए, रेगुलर फंड में निवेशकों द्वारा चुकाए जाने वाले शुल्क डायरेक्ट  फंड निवेशकों द्वारा चुकाए जाने वाले शुल्क से अधिक होते हैं।

डायरेक्ट और रेगुलर फंड में अंतर – Difference Between Direct and Regular Funds in Hindi

मापदंडडायरेक्ट फंडरेगुलर फंड
निवेश प्रक्रियासीधे AMC या प्लेटफॉर्म सेएजेंट या डिस्ट्रीब्यूटर के माध्यम से
एक्सपेंस रेशियोकम, क्योंकि कोई कमीशन नहींज़्यादा, एजेंट कमीशन शामिल होता है
रिटर्नथोड़ा अधिक रिटर्न मिल सकता हैरिटर्न पर एजेंट कमीशन असर डालता है
मार्गदर्शननिवेशक खुद रिसर्च करता हैएजेंट निवेश मार्गदर्शन प्रदान करता है
पारदर्शितानिवेशक को पूरी पारदर्शिता मिलती हैकुछ जानकारी एजेंट के माध्यम से मिलती है

डायरेक्ट फंड्स के फायदे – Advantages Of Investing In Direct Mutual Funds in Hindi

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड्स उन निवेशकों के लिए बेहतरीन विकल्प हैं जो खुद निवेश निर्णय लेना पसंद करते हैं और लंबे समय में अधिक रिटर्न की तलाश में रहते हैं। नीचे डायरेक्ट फंड्स में निवेश करने के प्रमुख फायदे बताए गए हैं:

  1. कम एक्सपेंस रेशियो: डायरेक्ट फंड्स में एजेंट या डिस्ट्रीब्यूटर शामिल नहीं होता, जिससे फंड का खर्च अनुपात कम होता है। Alice Blue के अनुसार, कम एक्सपेंस रेशियो का मतलब है – अधिक रिटर्न और कम लागत।
  2. ज्यादा रिटर्न की संभावना: कमीशन न लगने की वजह से रेगुलर फंड्स की तुलना में डायरेक्ट फंड्स का रिटर्न अधिक होता है। Groww की रिपोर्ट बताती है कि लॉन्ग टर्म निवेश में यह फर्क हजारों रुपये का हो सकता है।
  3. पूर्ण पारदर्शिता: निवेशक को फंड की यूनिट्स, प्रदर्शन, पोर्टफोलियो और सभी शुल्क की पूरी जानकारी रहती है। ET Money के अनुसार यह पारदर्शिता निवेशकों को बेहतर निर्णय लेने में मदद करती है।
  4. ऑनलाइन निवेश की सुविधा: Alice Blue जैसे प्लेटफॉर्म पर डायरेक्ट फंड्स में ऑनलाइन निवेश करना बहुत आसान है। आप मोबाइल या वेब एप से निवेश शुरू कर सकते हैं बिना किसी कागजी प्रक्रिया के।
  5. नियंत्रण निवेशक के हाथ में: डायरेक्ट फंड्स में निवेशक खुद रिसर्च करता है और निवेश की योजना बनाता है। Zerodha Coin जैसे प्लेटफॉर्म पर फंड की तुलना और परफॉर्मेंस ट्रैक करना आसान होता है, जिससे निर्णय स्वतः लिए जा सकते हैं।

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड के नुकसान – Disadvantages of Direct Mutual Funds in Hindi

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड्स में निवेश करने से जहां लागत कम होती है, वहीं इसमें कुछ चुनौतियाँ भी होती हैं, खासकर उन निवेशकों के लिए जो वित्तीय जानकारी में पारंगत नहीं हैं। नीचे इसके मुख्य नुकसान बताए गए हैं:

  1. मार्गदर्शन की कमी: डायरेक्ट फंड्स में कोई एजेंट या फाइनेंशियल एडवाइज़र नहीं होता, जिससे नए निवेशकों को सही फंड चुनने में कठिनाई हो सकती है।
  2. रिसर्च करने की जिम्मेदारी: निवेशक को खुद रिसर्च करनी पड़ती है कि कौन-सा फंड उनके लक्ष्य और जोखिम प्रोफाइल के अनुकूल है। गलत चयन से रिटर्न पर असर पड़ सकता है।
  3. समय और मेहनत अधिक लगती है: पोर्टफोलियो मैनेजमेंट, फंड मॉनिटरिंग और तुलना के लिए निवेशक को समय और ध्यान देना होता है। यह बिज़ी प्रोफेशनल्स के लिए कठिन हो सकता है।
  4. भावनात्मक निर्णय का जोखिम: मार्केट गिरावट के समय बिना सलाह के निवेशक भावनात्मक फैसले ले सकते हैं, जिससे नुकसान की संभावना बढ़ जाती है।
  5. टैक्स प्लानिंग की जटिलता: रेगुलर फंड्स में एडवाइज़र टैक्स ऑप्टिमाइजेशन में मदद करते हैं, जबकि डायरेक्ट फंड्स में यह जिम्मेदारी पूरी तरह निवेशक की होती है।

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड में निवेश कैसे करें? – How To Invest In Direct Mutual Funds in Hindi

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड में निवेश कैसे करें? – How To Invest In Direct Mutual Funds in Hindi

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड में निवेश करना अब पहले से कहीं ज्यादा आसान हो गया है। अगर आप खुद रिसर्च करना जानते हैं और बिचौलियों से बचकर ज्यादा रिटर्न कमाना चाहते हैं, तो आप नीचे दिए गए तरीकों से डायरेक्ट फंड्स में निवेश कर सकते हैं:

  1. AMC की वेबसाइट पर जाकर: आप सीधे म्यूचुअल फंड कंपनी (AMC) की वेबसाइट पर जाकर डायरेक्ट प्लान चुन सकते हैं। इसके लिए KYC पूरा करना जरूरी होता है और फंड का चयन खुद करना होता है।
  2. Alice Blue जैसे प्लेटफॉर्म का उपयोग करके: Alice Blue जैसे ऑनलाइन ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म से डायरेक्ट म्यूचुअल फंड्स में निवेश करना आसान है। यहां आप मोबाइल ऐप या वेब पोर्टल के ज़रिए SIP या एकमुश्त निवेश शुरू कर सकते हैं।
  3. SEBI-रजिस्टर्ड ऐप्स के ज़रिए: Groww, Zerodha Coin, Paytm Money जैसे SEBI-पंजीकृत ऐप्स पर डायरेक्ट फंड्स की सूची मिलती है। आप वहां से रिसर्च करके फंड में निवेश कर सकते हैं।
  4. KYC प्रक्रिया पूरी करें: निवेश से पहले PAN कार्ड, आधार और मोबाइल OTP के ज़रिए KYC वेरीफिकेशन जरूरी है। यह एक बार की प्रक्रिया होती है।
  5. फंड का चयन और भुगतान करें: अपने लक्ष्य, समय अवधि और जोखिम के अनुसार फंड चुनें, फिर SIP या लंपसम विकल्प चुनकर निवेश राशि भरें और भुगतान करें। आपके यूनिट्स आपके फोलियो में जुड़ जाएंगे।

डायरेक्ट म्यूचुअल फंडों की सूची – Direct Mutual Funds List in Hindi

यहाँ 2025 के लिए विभिन्न श्रेणियों में शीर्ष प्रदर्शन करने वाले डायरेक्ट म्यूचुअल फंड्स की एक विस्तृत सूची दी गई है, जो निवेशकों को उनके वित्तीय लक्ष्यों और जोखिम सहनशीलता के अनुसार चयन करने में मदद करेगी:​

फंड का नामश्रेणी5-वर्षीय रिटर्नन्यूनतम निवेशAUM (₹ करोड़)
Nippon India Small Cap Fund – Direct Plan – Growthस्मॉल कैप39.28%₹500₹55,491
ICICI Prudential Infrastructure Fund – Direct Planसेक्टोरल – इंफ्रास्ट्रक्चर38.78%₹500₹7,214
Tata Small Cap Fund – Direct Plan – Growthस्मॉल कैप36.21%₹500₹9,203
HDFC Focused 30 Fund – Direct Plan – Growthफोकस्ड इक्विटी31.81%₹100₹17,226
Motilal Oswal Midcap Fund – Direct Plan – Growthमिड कैप35.96%₹500₹26,028
Parag Parikh Flexi Cap Fund – Direct Plan – Growthफ्लेक्सी कैप9.26%₹1,000₹18,664
ICICI Prudential Bluechip Fund – Direct Plan – Growthलार्ज कैप13.98%₹100₹64,962
Kotak Multicap Fund – Direct Plan – Growthमल्टी कैप1.53%₹100₹11,530
Edelweiss Mid Cap Fund – Direct Plan – Growthमिड कैप10.04%₹100₹13,230
Nippon India Large Cap Fund – Direct Plan – Growthलार्ज कैप1.6%₹500₹37,546

नोट: उपरोक्त रिटर्न्स और रेटिंग्स 2025 के नवीनतम आंकड़ों पर आधारित हैं। निवेश से पहले अपने वित्तीय लक्ष्यों और जोखिम सहनशीलता का मूल्यांकन करें।

क्या आप म्यूचुअल फंड्स के बारे में अपने ज्ञान को विस्तारित करना चाहते हैं? हमारे पास एक ऐसी सूची है जिसमें म्यूचुअल फंड्स के बारे में जानने में मदद मिलेगी। और अधिक जानने के लिए, लेखों पर क्लिक करें।

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डायरेक्ट म्यूचुअल फंड क्या है? – त्वरित सारांश

  • डायरेक्ट म्यूचुअल फंड वह योजना होती है जिसमें निवेशक बिना बिचौलिये सीधे AMC से निवेश करता है, जिससे लागत कम होती है।
  • डायरेक्ट फंड्स में कम एक्सपेंस रेशियो, ज्यादा पारदर्शिता और खुद से निवेश करने की स्वतंत्रता जैसे फायदे होते हैं।
  • निवेशक खुद फंड चुनकर AMC या प्लेटफॉर्म पर निवेश करता है और NAV के अनुसार यूनिट्स अलॉट की जाती हैं।
  • रेगुलर फंड्स वे होते हैं जिनमें निवेश एजेंट के माध्यम से होता है और उसमें कमीशन शामिल होता है, जिससे खर्च अधिक होता है।
  • डायरेक्ट फंड्स में निवेशक खुद निर्णय लेता है, जबकि रेगुलर फंड्स में एजेंट मार्गदर्शन और सेवा शुल्क लेते हैं।
  • डायरेक्ट फंड्स में निवेश से रिटर्न अधिक मिलते हैं क्योंकि इनमें कोई कमीशन नहीं होता और निवेश पूरी तरह पारदर्शी रहता है।
  • इनमें मार्गदर्शन नहीं मिलता, रिसर्च खुद करनी पड़ती है और गलत फंड चुनने का जोखिम भी अधिक होता है।
  • AMC की वेबसाइट, Alice Blue जैसे प्लेटफॉर्म या SEBI-पंजीकृत ऐप्स से सीधे निवेश किया जा सकता है, KYC जरूरी होता है।
  • Quant, Parag Parikh, ICICI, Nippon जैसे कई टॉप डायरेक्ट फंड्स 2025 में उच्च रिटर्न और विश्वसनीय AUM के साथ उपलब्ध हैं।
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डायरेक्ट म्यूचुअल फंड का मतलब – अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

1. डायरेक्ट म्यूचुअल फंड सादे शब्दों में क्या है?

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड वह योजना होती है जिसमें आप सीधे म्यूचुअल फंड कंपनी से निवेश करते हैं, बिना किसी एजेंट या बिचौलिये के। इसमें कोई कमीशन नहीं लगता, इसलिए लागत कम और रिटर्न अधिक होता है। यह विकल्प समझदार और आत्मनिर्भर निवेशकों के लिए बेहतर माना जाता है।

2. डायरेक्ट म्यूचुअल फंड सुरक्षित है?

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड उतने ही सुरक्षित होते हैं जितने रेगुलर फंड। फर्क सिर्फ निवेश प्रक्रिया का होता है। फंड का जोखिम उसकी स्कीम और बाजार पर निर्भर करता है, न कि वह डायरेक्ट है या रेगुलर। सही रिसर्च और समझदारी से निवेश करने पर यह सुरक्षित विकल्प हो सकता है।

3. कौन बेहतर है, सीधा या सामान्य म्यूचुअल फंड?

अगर आप खुद रिसर्च कर सकते हैं, तो डायरेक्ट फंड बेहतर हैं क्योंकि इनमें खर्च कम होता है और रिटर्न ज्यादा मिलते हैं। लेकिन अगर आपको मार्गदर्शन चाहिए, तो रेगुलर फंड आपके लिए बेहतर हो सकते हैं। दोनों में स्कीम एक जैसी होती है, फर्क निवेश प्रक्रिया का है।

4. कौन से बैंक डायरेक्ट म्यूचुअल फंड प्रदान करते हैं?

SBI, HDFC, ICICI, Axis, Kotak जैसे बैंक अपनी म्यूचुअल फंड वेबसाइट के माध्यम से डायरेक्ट म्यूचुअल फंड्स की सुविधा देते हैं। आप सीधे बैंक की AMC पोर्टल पर जाकर ऑनलाइन KYC पूरा करके निवेश कर सकते हैं। यह सेवा मोबाइल ऐप्स के माध्यम से भी उपलब्ध होती है।

5. डायरेक्ट म्यूचुअल फंड पर कर लगता है क्या?

हाँ, डायरेक्ट म्यूचुअल फंड्स पर भी टैक्स लगता है। अगर आप एक साल से पहले इक्विटी फंड बेचते हैं, तो शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन टैक्स (15%) लगता है। एक साल बाद लॉन्ग टर्म गेन पर ₹1 लाख से ऊपर की कमाई पर 10% टैक्स लागू होता है।

6. डायरेक्ट म्यूचुअल फंड नए निवेशकों के लिए सही है या नहीं?

नए निवेशकों के लिए डायरेक्ट म्यूचुअल फंड तभी सही हैं जब वे खुद रिसर्च करना जानते हों और जोखिम समझते हों। क्योंकि इसमें एजेंट का मार्गदर्शन नहीं होता, निर्णय पूरी तरह निवेशक का होता है। शुरुआती लोग चाहें तो रेगुलर फंड से शुरुआत कर सकते हैं।

7. क्या डायरेक्ट म्यूचुअल फंड पहली बार निवेश करने वालों के लिए सही है?

अगर पहली बार निवेश करने वाला व्यक्ति फाइनेंशियल नॉलेज रखता है और फंड की तुलना व चयन करने में सक्षम है, तो डायरेक्ट फंड्स फायदेमंद हो सकते हैं। अन्यथा, बिना मार्गदर्शन के गलत फंड चयन होने का जोखिम रहता है। शुरुआत में सलाह लेकर निवेश करना बेहतर होता है।

8. डायरेक्ट म्यूचुअल फंड में एक्सपेंस रेश्यो कितना कम होता है?

डायरेक्ट म्यूचुअल फंड्स में एक्सपेंस रेशियो आमतौर पर रेगुलर फंड की तुलना में 0.5% से 1% तक कम होता है। यह अंतर लंबे समय में निवेशक को अतिरिक्त रिटर्न देने में मदद करता है। कम लागत से जुड़ा यह लाभ विशेष रूप से SIP या बड़े निवेश में प्रभावी होता है।

9. डायरेक्ट म्यूचुअल फंड कैसे ट्रैक करें?

आप अपने डायरेक्ट म्यूचुअल फंड्स को AMC की वेबसाइट, CAMS, KFintech, Groww, Coin by Zerodha, या Alice Blue जैसे प्लेटफॉर्म पर लॉगिन कर ट्रैक कर सकते हैं। यहां NAV, रिटर्न, पोर्टफोलियो, और निवेश प्रगति की विस्तृत जानकारी मिलती है। मोबाइल ऐप्स से ट्रैकिंग और आसान हो जाती है।

10. डायरेक्ट म्यूचुअल फंड का एनएवी रेगुलर फंड से अलग क्यों होता है?

डायरेक्ट फंड का NAV रेगुलर फंड से थोड़ा ज्यादा होता है क्योंकि उसमें कमीशन या डिस्ट्रीब्यूटर शुल्क नहीं जुड़ता। रेगुलर फंड में यह लागत घटाकर NAV कम दिखाई देता है। हालांकि दोनों फंड एक जैसी स्कीम में निवेश करते हैं, फर्क सिर्फ लागत के कारण NAV में होता है।

हम आशा करते हैं कि आप विषय के बारे में स्पष्ट हैं। लेकिन ट्रेडिंग और निवेश के संबंध में और भी अधिक सीखने और अन्वेषण करने के लिए, हम आपको उन महत्वपूर्ण विषयों और क्षेत्रों के बारे में बता रहे हैं जिन्हें आपको जानना चाहिए:।

खरीदने के लिए सर्वश्रेष्ठ मेटल स्टॉक
बेस्ट सीमेंट स्टॉक्स इंडिया
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स्टॉप लॉस क्या है?
डीमैट अकाउंट और ट्रेडिंग अकाउंट में अंतर
सब ब्रोकर क्या होता है?
ब्रैकेट ऑर्डर क्या है?
SEBI क्या है?

डिस्क्लेमर: उपरोक्त लेख शैक्षिक उद्देश्यों के लिए लिखा गया है, और लेख में उल्लिखित कंपनियों का डेटा समय के साथ बदल सकता है। उद्धृत प्रतिभूतियाँ अनुकरणीय हैं और अनुशंसात्मक नहीं हैं।

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